न्यूजीलैंड संसद में Maori Rights बिल पर बवंडर
न्यूजीलैंड की संसद में इस सप्ताह एक महत्वपूर्ण और विवादास्पद बिल पर तीखी बहस छिड़ गई, जिसने न केवल राजनीतिक दृष्टिकोण से बल्कि सांस्कृतिक स्तर पर भी बड़ा असर डाला। यह बिल Maori और क्राउन (राजशाही) के बीच समझौते के सिद्धांतों को नया आकार देने का प्रस्ताव करता है। इस प्रस्ताव का विरोध व्यापक रूप से किया जा रहा है, और इसका विरोध संसद में हाका नृत्य जैसी घटनाओं में व्यक्त हुआ।
बिल का उद्देश्य और इसके प्रभाव
यह बिल, जिसे न्यूजीलैंड की गठबंधन सरकार में शामिल एक्ट पार्टी द्वारा प्रस्तुत किया गया था, Maori और क्राउन के बीच 1840 में हुए वाइटांगी समझौते के सिद्धांतों को हटाने का प्रयास करता है। यह सिद्धांत Maori Rights की रक्षा के लिए महत्वपूर्ण माने जाते हैं। 1840 में Maori प्रमुखों और ब्रिटिश क्राउन के बीच हुए इस ऐतिहासिक समझौते ने माओरी लोगों के अधिकारों को सुनिश्चित किया था।
समझौते के बाद, Maori Rights की रक्षा के लिए कई सिद्धांत विकसित किए गए थे, जिनमें भागीदारी, साझेदारी, संरक्षण और मुआवजा प्रमुख हैं। इन सिद्धांतों को कानून, न्यायालयों और tribunals के माध्यम से पिछले 50 वर्षों में एक स्थिर रूप दिया गया। एक्ट पार्टी का कहना है कि यह बिल इस चुप्पी को तोड़ने का प्रयास है, जिससे यह स्पष्ट किया जा सके कि माओरी और अन्य न्यूजीलैंडियों के बीच अधिकारों में भेदभाव नहीं किया जा सकता।
विरोधी दलों की आलोचना
इस बिल का विरोध करने वाले दलों का मानना है कि यह Maori Rights को कमजोर करेगा। लेबर पार्टी के सदस्य विल्ली जैक्सन ने बिल को “घृणित” करार दिया और एक्ट पार्टी के नेता डेविड सिमोर को आड़े हाथों लिया। जैक्सन ने कहा, “यह बिल Maori Rights को नष्ट करेगा।” उनका कहना था कि सिद्धांत बहुत स्पष्ट हैं और यह माओरी अधिकारों के लिए एक साझेदारी, समानता, सक्रिय संरक्षण और मुआवजे का हिस्सा हैं।
जैक्सन ने यह भी आरोप लगाया कि डेविड सिमोर न्यूजीलैंड के सबसे खतरनाक राजनेता हैं। उन्होंने कहा कि यह बिल माओरी अधिकारों पर हमला करने के अलावा कुछ नहीं है। जैक्सन ने सिमोर को झूठा भी कहा, जिसके बाद उन्हें सदन से बाहर भेज दिया गया जब उन्होंने अपने बयान को वापस लेने से इंकार किया।
हाका नृत्य और संसद में उबाल
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— End Wokeness (@EndWokeness) November 14, 2024
इस विवाद के बीच संसद में एक और दिलचस्प घटना घटी। टे पाती माओरी के सांसद हाना-रवाहिति माईपी-क्लार्क ने विरोध प्रदर्शन के रूप में हाका नृत्य किया, जो एक पारंपरिक माओरी नृत्य है, जो किसी चुनौती या विरोध को दर्शाता है। माईपी-क्लार्क ने इस दौरान Maori Rights बिल की एक प्रति भी फाड़ दी, जिससे संसद में तनाव और बढ़ गया। यह नृत्य संसद की गहमागहमी में एक महत्वपूर्ण मोड़ था और इसने बिल के विरोध का प्रदर्शन किया।
इस नृत्य ने संसद में तात्कालिक गुस्से और नाराजगी को उकसाया। हाका नृत्य माओरी संस्कृति का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है और इसने संसद के भीतर माओरी समुदाय की मजबूत प्रतिक्रिया और उनके अधिकारों की रक्षा की भावना को व्यक्त किया।
सार्वजनिक विरोध और बैकलेश
बिल के खिलाफ न्यूजीलैंड में व्यापक विरोध हुआ है। हजारों लोग इस सप्ताह एक नौ दिन की हिकोई (प्रदर्शन मार्च) में शामिल हुए हैं, जो उत्तर द्वीप के शीर्ष से शुरू होकर संसद तक पहुंचने की योजना है। इस मार्च में माओरी समुदाय और अन्य विरोधी लोग शामिल हो रहे हैं।
इससे पहले, 40 से अधिक किंग्स काउंसल (उच्च न्यायालय के वकील) ने प्रधानमंत्री क्रिस्टोफर लक्सन और अटॉर्नी जनरल जूडिथ कॉलिन्स को एक खुला पत्र भेजा, जिसमें उन्होंने इस बिल को वापस लेने का अनुरोध किया।
भविष्य की दिशा
हालाँकि, इस बिल का केवल पहले पठन तक ही समर्थन किया गया है, और इसे संसद में आगे बढ़ने का बहुत कम अवसर है। नेशनल पार्टी और न्यूजीलैंड फर्स्ट ने इसके समर्थन से इनकार कर दिया है। वर्तमान में, न्याय समिति इस बिल पर विचार कर रही है, और इसके बाद यह फिर से संसद में दूसरे पठन के लिए प्रस्तुत किया जाएगा। ऐसे में यह संभावना जताई जा रही है कि यह बिल संसद में पारित नहीं हो पाएगा।
निष्कर्ष
न्यूजीलैंड संसद में माओरी अधिकारों पर यह बिल एक संवेदनशील मुद्दा बन चुका है। विरोध और समर्थन दोनों ही ओर से इस बिल पर तीखी बहस हो रही है। इस मुद्दे ने केवल राजनीतिक ही नहीं, बल्कि सांस्कृतिक रूप से भी न्यूजीलैंड की एकता और विविधता को चुनौती दी है। क्या यह बिल आगे बढ़ेगा, यह भविष्य के घटनाक्रमों पर निर्भर करेगा, लेकिन एक बात स्पष्ट है कि यह संसद और न्यूजीलैंड के समाज में महत्वपूर्ण सवालों को जन्म दे रहा है।₹10000-से-कम-के-फोन Samsung Smartphones – अब बेहतरीन फीचर्स भी बजट में!